हमारे शरीर को सही ढंग से और सुचारू रूप से काम करने तथा स्वस्थ रहने के लिए कई प्रकार के खनिज तत्व तथा पदार्थ की जरूरत पड़ती है। ताकि हमारे शरीर में ऊर्जा बरकरार रहे तथा रोगों से बचा जा सके जब भी हम किसी रोग से ग्रसित होते हैं। तब हमें किसी न किसी प्रकार की विटामिन की आवश्यकता होती है। जो हमारे शरीर को स्वस्थ करने में काम करती है। अगर हमारे शरीर में कोई विटामिन तथा पदार्थ कम पड़ जाता है। तो हमको किसी न किसी रोग का शिकार होना पड़ जाता है। इसी पदार्थो में से एक का नाम है। कैल्शियम जिसकी जरूरत हमारे शरीर को बहुत ही अधिक होती है। अगर हमारे शरीर में कैल्शियम की कमी है। तो हमारी हड्डियां कमजोर होने लगती हैं। तथा उन हड्डियों में दर्द होने लगता है। अतः हमारे शरीर को मजबूत करने के लिए कैल्शियम की जरूरत पड़ती है। जब हमारा एक्सीडेंट या किसी कारण बस कोई भी हड्डी टूट जाती है। तो हमें कैल्शियम की अधिक जरूरत पड़ती है।
ऐसे तो कैल्शियम हमारे भोजन में भी मिल जाता है। जो हम अपने घर पर कई प्रकार के व्यंजन बनाते हैं। फिर भी कभी-कभार सही प्रकार की पोषक तत्व की पूर्ति हमारे भोजन से उपलब्ध नहीं हो पाता तो उसको पूरा करने के लिए हमें अलग से उसकी खुराक लेनी पड़ती है।
कैल्शियम उनमे से एक है जिसको पूरा करने के लिए हमें किन-किन फल फ्रूट एवम् ड्राई फ्रूट तथा तरल पदार्थ की जरूरत पड़ती है। पदार्थ कौन-कौन से हैं। और किसमे कितनी मात्रा में कैल्शियम पाई जाती है। वह नीचे दिए गए है। जो निम्न प्रकार के हैं।
दूध दही पनीर तथा छाछ।
दूध को कैल्शियम का मुख्य स्रोत माना जाता है। लेकिन यह बात मायने रखती है। कि वह दूध शुद्ध होना चाहिए आजकल बाजार में बहुत ज्यादा मात्रा में बनावटी तथा मिलावटी दूध उपलब्ध है।हमें उससे बचना चाहिए तथा शुद्ध दूध का इस्तेमाल करना चाहिए अगर आपके पास शुद्ध दूध है। तो आप उससे दही भी बना सकते हैं। जिससे आपको बाजार से दही लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी दूध से पनीर भी बनाया जा सकता है। जो पनीर हमें मार्केट में मिलता है। वह पाउडर के दूध का होता है। शुद्ध क्वालिटी के दूध में पनीर कम मात्रा में पड़ता है। पनीर बनाने के लिए दूध का उपयोग करें। कैल्शियम छाछ में भी उपलब्ध होता है। दही का क्रीम निकालने के बाद जब उसका पानी बच जाता है वह छाछ कहलाता है। जो हमें बाजार में छाछ मिलता है वह स्वादिष्ट तो होता है। लेकिन घर का बनाया हुआ छाछ ज्यादा स्वादिष्ट नहीं होगा लेकिन उसमें कैल्शियम भरपूर मात्रा में होती है।
पके हुए केले।
पके हुए केले में भरपूर मात्रा में कैल्शियम पाया जाता है। पका हुआ केला हमें बाजार में आसानी से उपलब्ध मील जाता है। एक कप पके हुए केले में दूध से ज्यादा कैल्शियम होता है।
पके हुए कोलार्ड साग।
कोलार्ड साग यानी पात गोभी के पत्ते के साग में भरपूर मात्रा में कैल्शियम पाया जाता है। पात गोभी के पत्ते तो आपको बाजार में आसानी से उपलब्ध नहीं मिलेंगे लेकिन उन्हें ढूंढने की जरूरत नहीं है। क्योंकि जो आपके बाजार या सब्जी मंडी में पात गोभी मिलती है। उसके ऊपर के पत्ते उतार कर आप उसका साग बना सकते हैं। एक कप पके हुए कोलार्ड के साग में 268 मिलीग्राम कैल्शियम होता है।
बादाम का दूध।
कैल्शियम को पूरा करने के लिए बादाम का दूध भी एक कैल्शियम पूरक तत्व है। जो आपको बाजार में आसानी से उपलब्ध मिल जाता है। एक कप बादाम के दूध में 449 मिलीग्राम कैल्शियम पाया जाता है।
पिस्ता।
अपने शरीर में कैल्शियम की कमी को पूरा करने के लिए आप पिश्ता का भी प्रयोग कर सकते हैं। यह आसानी से किराने की दुकान पर मिल जाता है। 100 ग्राम पिस्ता में 131 मिलीग्राम कैल्शियम होता है।
बड़ा वाला हर नींबू।
कैल्शियम की कमी को पूरा करने के लिए आप बड़े वाले हरे नींबू का भी प्रयोग कर सकते हैं। जो आपको अपने आस पड़ोस में मिल जाता है। कभी-कभी यह सब्जी मंडी में भी दिखता है। 100 ग्राम हरा बड़े नींबू में 33 मिलीग्राम कैल्शियम होता है।
पालक का साग।
पालक एक प्रकार का साग है। इसको अलग-अलग जगह पर अलग-अलग नाम से भी जाना जाता है। पालक का साग खाने में भी स्वादिष्ट होता है। और इसमें भरपूर मात्रा में पोषक तत्व भी पाए जाते हैं। 100 ग्राम पालक में 99 मिलीग्राम कैल्शियम होता है।
गहरे रंग की हरी सब्जियां तथा साग का सेवन।
अगर आपको कैल्शियम की जरूरत है। तो आपको गहरे हरे रंग की साग एवं सब्जियों को अपने भोजन की थाली में शामिल करना चाहिए हरी सब्जियां तथा सांग में प्रचुर मात्रा में कैल्शियम पाया जाता है। इसके साथ ही इनमें विटामिन ए और सी विटामिन भी पाया जाता है। हरी सब्जियों के सेवन से आपके शरीर में कई प्रकार के पोषक तत्व एवं विटामिन की कमी की पूर्ति होती है। इसके साथ ही आपको सांग का सेवन अवश्य करना चाहिए साग का सेवन करना दूध के सेवन से कम नहीं होता और इसके साथ में विटामिन की मात्रा अधिक होती है। हमें कभी भी एक ही प्रकार के सब्जी और दाल का प्रयोग हमेशा नहीं करना चाहिए हमें अपने हिसाब से एक या दो दिन में बदलकर भोजन करना चाहिए ताकि हमारे शरीर में किसी भी प्रकार के कमी महसूस ना हो।
मदिरा के सेवन से सदैव बचना चाहिए।
अगर आपके शरीर में कैल्शियम की कमी है तो आपको इस अवस्था में मदिरा का सेवन नहीं करना चाहिए मदिरा का सेवन स्वास्थ्य के लिए सदैव हानिकारक है। मदिरा का सेवन करने से यह पेट की चर्बी को बढ़ावा देता है। इसके साथ ही यह पाचन क्रिया में बाधा पैदा करता है। और मदिरा के सेवन से हड्डियां कमजोर होती है। अतः अगर आपको स्वस्थ रहना है। तो मदिरा का सेवन ना करें।